बनिये ने शाहनी से कहा।
शाह ने अपनी पत्नी से कहा, 'ईश्वर ने हमें बेटा नहीं दिया है।
हमारे घर का धन किस काम आएगा?
'बेटे के बिना हमारे घर में यह सब क्या काम का? संतान के बिना मुझे अपने आप पर शर्म आती है।(2)
दोहिरा
'सुनो मेरी पत्नी, भगवान ने हमें बेटा नहीं दिया है।
'यदि ईश्वर कोई चोर भेजे तो हम उसे अपने पुत्र के समान रख सकते हैं।(3)
चौपाई
अगर वह चोर बन गया तो हम उसे बेटे की तरह रखेंगे
'अगर चोर आया तो हम उसे अपने बेटे की तरह रखेंगे और उससे ज्यादा कुछ नहीं कहेंगे।
जब बनिया शाहनी के साथ मर जाएगा
'अगर हम दोनों मर गए तो इस सारी दौलत का क्या होगा?'(4)
जब चोर को इस बात का पता चला
जब चोर ने उनकी बातें सुनी तो उसकी खुशी का ठिकाना न रहा।
जाकर कहो बनिये का बेटा
(उसने सोचा,) 'मैं शाह का बेटा बनूंगा और उसकी मृत्यु के बाद, मैं सारी संपत्ति का मालिक बनूंगा।'(5)
तब तक बनिये की नजर चोर पर पड़ गई।
तभी उनकी नजर चोर पर पड़ी और वे बहुत खुश हुए।
भगवान ने एक बेटे को आशीर्वाद दिया जो बड़ा हुआ और पोषित हुआ
'मुझे एक बड़ा बेटा मिला है,' और फिर उन्होंने उसे 'मेरा बेटा', 'मेरा बेटा' कहते हुए गले लगा लिया।(6)
चोर को बिस्तर पर बैठा दिया।
उन्होंने उसे बिस्तर पर बैठाया और स्वादिष्ट भोजन परोसा।
शाहनी भी बेटे के साथ आई थी
शाह की पत्नी ने 'मेरा बेटा, मेरा बेटा' कहते हुए चारों ओर घूमकर सबको खबर दी।(7)
दोहिरा
जब पांच अधिकारी बुलाये गये तो उसने चोर को उनके सामने प्रस्तुत किया।
और कहा, 'वह इधर-उधर घूमता रहता था और मैंने उसे अपना बेटा बना लिया है।(8)
चौपाई
भगवान ने हमें असीमित धन दिया है।
'भगवान ने हमें बहुत धन दिया है, लेकिन हमारे पास कोई संतान नहीं है।
हमने उसे बेटा कहा है।
'हमने उसे अपना बेटा मान लिया है और अब आप उसे सज़ा न दें।'(9)
बनिया कहता रहा बेटा बेटा।
शाह उसे अपना बेटा कहकर संबोधित करते रहे, लेकिन पांच अधिकारियों ने उन्हें गिरफ्तार कर लिया।
बनिया के गैर-विश्वासियों में से एक
उन्होंने उसकी एक न सुनी और चोर को फाँसी पर चढ़ा दिया।(10)(1)
शुभ चरित्र का इकसठवाँ दृष्टान्त - राजा और मंत्री का वार्तालाप, आशीर्वाद सहित पूर्ण।(61)(1106)
दोहिरा
महान सिंह के घर में अक्सर चोर आते थे।
वे हमेशा बहुत सारा धन चुराकर अपने घर ले जाते थे।(1)
चौपाई
एक चोर पैसा चुराने आया।
एक दिन एक चोर चोरी करने आया और पकड़ा गया। महान सिंह ने बताया
महासिंह ने उससे कहा,
उसे अपने हृदय में दृढ़ रहना चाहिए।(2)
दोहिरा
'वे (पुलिस) आपके सिर के ऊपर एक तेज तलवार रख सकते हैं,
'लेकिन तुम कोई भय मत दिखाना क्योंकि मैं तुम्हें बचा लूंगा।(3)