आकाश में घने और भिन्न-भिन्न रंग के बादलों के एकत्र होने से वर्षा होती है, जो पृथ्वी को सुशोभित करती है तथा चारों ओर खुशियाँ फैलाती है।
इससे रंग-बिरंगे फूल भी खिलते हैं। वनस्पति भी ताजा और नई दिखती है।
ठंडी हवा के साथ रंग-बिरंगे फूलों की सुगंध और विभिन्न आकार, साइज और स्वाद वाले फलों के साथ विभिन्न प्रजातियों के पक्षी आते हैं और आनंदपूर्वक गीत गाते हैं।
सतगुरु द्वारा बताये अनुसार भगवान के नाम के ध्यान पर कठोर परिश्रम करने से वर्षा ऋतु के इन सभी आकर्षणों का आनंद लेना अधिक फलदायी और आनंददायक हो जाता है। (74)