जैसे राजा अनेक स्त्रियों से विवाह करता है, किन्तु जो पुत्र को जन्म देता है, उसे राज्य देकर सम्मानित किया जाता है।
जैसे समुद्र में सभी दिशाओं में अनेक जहाज चलते हैं, किन्तु जो जहाज किनारे पर पहुँचता है, वही लाभदायक सिद्ध होता है।
जिस प्रकार कई खदान खोदने वाले हीरे खोदते हैं, लेकिन जिसे हीरा मिल जाता है, वह अपनी खोज का उत्सव मनाता है।
इसी प्रकार गुरु का सिख चाहे नया हो या पुराना भक्त, यदि उसे सच्चे गुरु की कृपा दृष्टि प्राप्त हो जाती है, तो वह सम्मान, महिमा और प्रशंसा प्राप्त करता है। (563)